पाठ्यक्रम: GS3/ पर्यावरण
समाचार में
- डेनमार्क ने कासो में विश्व का पहला वाणिज्यिक स्तर का ई-मेथनॉल संयंत्र लॉन्च किया है।
- यूरोपियन एनर्जी (डेनमार्क) और मित्सुई (जापान) द्वारा विकसित इस संयंत्र में प्रतिवर्ष 42,000 मीट्रिक टन ई-मेथनॉल का उत्पादन होगा।
मेथनॉल क्या है?
- परिचय: मेथनॉल (CH₃OH) एक हल्का, वाष्पशील और ज्वलनशील द्रव अल्कोहल है। पारंपरिक रूप से इसे प्राकृतिक गैस और कोयले से उत्पादित किया जाता है और इसका उपयोग रसायनों, ईंधनों और प्लास्टिक में किया जाता है।
- अनुप्रयोग:
- शिपिंग ईंधन
- प्लास्टिक उत्पादन
- ईंधन सेल निर्माण आदि।
ई-मेथनॉल को अपनाने में चुनौतियाँ
- उच्च लागत: अभी यह जीवाश्म ईंधनों की तुलना में मूल्य प्रतिस्पर्धी नहीं है; 2035 तक मूल्य समानता की संभावना है।
- उत्पादन का पैमाना: बड़े पैमाने पर हरित मेथनॉल के लिए बुनियादी ढाँचा प्रारंभिक अवस्था में है।
- CO₂ का स्रोत: स्थायी और विश्वसनीय CO₂ कैप्चर तकनीकी रूप से चुनौतीपूर्ण बना हुआ है।
- भंडारण और वितरण: नए या अनुकूलित लॉजिस्टिक्स बुनियादी ढाँचे की आवश्यकता है।
भारत का मेथनॉल इकोनॉमी कार्यक्रम
- परिचय: नीति आयोग द्वारा प्रारंभ किया गया मेथनॉल इकोनॉमी कार्यक्रम तेल आयात बिल को कम करने, प्रदूषण नियंत्रण करने और ईंधन के स्वच्छ विकल्पों को बढ़ावा देने का प्रयास करता है।
- मुख्य स्तंभ: कोयला, बायोमास और नगरपालिका अपशिष्ट से मेथनॉल का उत्पादन किया जा सकता है। इसका उपयोग एलपीजी मिश्रण, विद्युत उत्पादन और परिवहन में किया जा सकता है। यह भारत के तेल आयात बिल और ग्रीनहाउस गैस (GHG) उत्सर्जन को कम करने में सहायता करता है।
- कार्यक्रम का लक्ष्य 2030 तक कच्चे तेल के आयात में 10% की कमी लाना है और इसे मेथनॉल से प्रतिस्थापित करना है।
- सरकारी पहल और प्रगति: विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग (DST) ने मेथनॉल इकोनॉमी अनुसंधान कार्यक्रम (MERP) प्रारंभ किया है ताकि मेथनॉल उत्पादन और उपयोग पर शोध को समर्थन मिल सके।
- 15% मेथनॉल मिश्रण (M15) को पेट्रोल में मिलाने की अधिसूचना जारी की गई है, और इसके परीक्षण मानक विकसित किए जा रहे हैं।
- राष्ट्रीय जैव ईंधन नीति 2018 मेथनॉल और DME (डाइमेथाइल ईथर) को वैकल्पिक ईंधनों के रूप में मान्यता देती है।
Source: TH
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