संक्षिप्त समाचार 06-6-2025

कच्छ में पूर्व-हड़प्पा तटीय बस्तियाँ

पाठ्यक्रम: GS1/प्राचीन इतिहास

संदर्भ 

  • भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान गांधीनगर (IITGN) के शोधकर्ताओं द्वारा किए गए अध्ययन में पुरातात्विक साक्ष्य मिले हैं, जो इस क्षेत्र में मनुष्य की उपस्थिति को हड़प्पा सभ्यता के आगमन से कम से कम 5,000 वर्ष पहले तक की जानकारी प्रदान करते हैं।

अध्ययन के निष्कर्ष 

  • कच्छ में प्रारंभिक मानव बसावट: अध्ययन के अनुसार, प्रारंभिक समुदाय मैंग्रोव-प्रधान भूभाग में रहते थे और शंख-जाति के जीवों (बाइवेल्व्स जैसे सीप और गैस्ट्रोपोड्स) पर निर्भर थे, जो प्राकृतिक रूप से ऐसे पर्यावरण के अनुकूल होते हैं।
    • पत्थर के औजारों (काटने, खुरचने, चीरने के लिए) और औजार-निर्माण की मूल सामग्री की उपस्थिति यह संकेत देती है कि अर्ध-स्थायी या स्थायी समुदाय मौजूद थे।
  • पूर्व-हड़प्पा संस्कृति और क्षेत्रीय संबंध: अध्ययन के निष्कर्ष संस्कृतिक निरंतरता और प्रारंभिक तटीय समुदायों के क्षेत्रीय संपर्क की ओर संकेत करते हैं:
  • लास बेला और मकरान क्षेत्र (वर्तमान पाकिस्तान)।
  • ओमान प्रायद्वीप, जिससे समान आजीविका और जीवित रहने की रणनीतियों का संकेत मिलता है।
  • यह लंबे समय से चली आ रही इस मान्यता को चुनौती देता है कि कच्छ में नगरीकरण केवल सिंध-आधारित हड़प्पा संस्कृति के प्रभाव से विकसित हुआ।
  • इसके विपरीत, अध्ययन एक अधिक जटिल और स्वदेशी विकासवादी मार्ग का सुझाव देता है।

स्थलों की आयु निर्धारण की विधि

  • शोध टीम ने शील अवशेषों की डेटिंग के लिए एक्सेलेरेटर मास स्पेक्ट्रोमेट्री (AMS) तकनीक का उपयोग किया।
  • यह तकनीक रेडियोधर्मी आइसोटोप कार्बन-14 (C-14) की मात्रा को मापती है, जिसे जीवित जीवों द्वारा अवशोषित किया जाता है।
  • मृत्यु के बाद, C-14 क्षय होकर हर 5,730 वर्षों में आधा हो जाता है।
  • वायुमंडलीय C-14 स्तर समय के साथ बदलते रहे हैं, इसलिए परिणामों को वृक्ष-वृत्त डेटा के माध्यम से कैलिब्रेट किया गया।
    • पेड़ प्रत्येक वर्ष एक वृत्त बनाते हैं, और इन वृक्ष-वृत्त अनुक्रमों को मिलान कर हजारों वर्षों तक विस्तारित किया जा सकता है, जिससे वैज्ञानिक वायुमंडलीय C-14 का सटीक संदर्भ टाइमलाइन बना सकते हैं।

Source: PIB

इंडेक्स कार्ड

पाठ्यक्रम: GS2/ शासन

समाचार में 

  • चुनाव आयोग ने चुनावों के संपन्न होने के पश्चात् इंडेक्स कार्ड और विभिन्न सांख्यिकीय रिपोर्टों को तैयार करने के लिए एक तकनीक-संचालित प्रणाली को सुव्यवस्थित किया है।
    •  पहले, यह जानकारी निर्वाचन क्षेत्र स्तर पर विभिन्न वैधानिक प्रारूपों में भौतिक इंडेक्स कार्ड के माध्यम से मैन्युअल रूप से दर्ज की जाती थी।

इंडेक्स कार्ड के बारे में 

  • यह एक गैर-वैधानिक, चुनाव के बाद का सांख्यिकीय रिपोर्टिंग प्रारूप है, जिसे भारतीय चुनाव आयोग (ECI) द्वारा स्वतः संज्ञान लेकर विकसित किया गया है। इसका उद्देश्य निर्वाचन क्षेत्र स्तर पर चुनाव संबंधी डेटा की पहुँच में सुधार करना है, जिससे सभी हितधारकों को जानकारी मिल सके। 
  • यह डेटा को विभिन्न आयामों में वितरित करने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जैसे:
    • उम्मीदवार, मतदाता, डाले गए मत, गिने गए मत।
    • पार्टी-वार और उम्मीदवार-वार मत शेयर
    • लिंग-आधारित मतदान पैटर्न
    • क्षेत्रीय विविधताएँ और राजनीतिक दलों का प्रदर्शन

Source: PIB

S महेंद्र देव EAC-PM के नए प्रमुख नियुक्त

पाठ्यक्रम: GS2/शासन

समाचार में

  •  अर्थशास्त्री एस. महेंद्र देव को प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद् (EAC-PM) के अध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया गया है, उन्होंने वर्तमान अध्यक्ष सुमन बेरी का स्थान लिया है।
क्या आप जानते हैं? 
एस. महेंद्र देव कृषि और ग्रामीण अर्थव्यवस्था के विशेषज्ञ हैं और इकॉनोमिक एंड पॉलिटिकल वीकली के संपादक होने के साथ-साथ इंस्टिट्यूट फॉर डेवलपमेंट स्टडीज, आंध्र प्रदेश के अध्यक्ष भी हैं। 
– उन्होंने पहले इंदिरा गांधी विकास अनुसंधान संस्थान के निदेशक के रूप में कार्य किया और कोटक महिंद्रा बैंक में भी विभिन्न भूमिकाएँ निभाईं। 
देव ने दिल्ली स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से पीएचडी की है और येल विश्वविद्यालय में पोस्ट-डॉक्टोरल शोध किया है।

प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद् (EAC-PM) 

  • यह एक स्वतंत्र निकाय है, जिसे भारत सरकार, विशेष रूप से प्रधानमंत्री को आर्थिक और संबंधित मामलों पर सलाह देने के लिए गठित किया गया है।
  • कार्यात्मक भूमिका:
    • प्रधानमंत्री द्वारा संदर्भित आर्थिक या अन्य मुद्दों का विश्लेषण करना।
    • समष्टि अर्थव्यवस्था (macroeconomic) से संबंधित मामलों को संबोधित करना।
    • नीतिगत सलाह देना।
    • प्रधानमंत्री द्वारा अनुरोधित अतिरिक्त कार्यों को पूरा करना।
    • ये कार्य परिषद् की पहल पर या प्रधानमंत्री के संदर्भ अनुरोध पर प्रारंभ किए जा सकते हैं।

Source :IE

आयुष निवेश सारथी

पाठ्यक्रम:GS2/शासन 

समाचार में 

  • भारत सरकार ने आयुष निवेश सारथी पोर्टल लॉन्च किया है, जिसका उद्देश्य भारत को पारंपरिक चिकित्सा और कल्याण का वैश्विक केंद्र बनाना है।

आयुष निवेश सारथी 

  • यह एक निवेशक-केंद्रित डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है, जिसे आयुष मंत्रालय द्वारा इन्वेस्ट इंडिया के सहयोग से विकसित किया गया है। 
  • यह नीति रूपरेखाओं, प्रोत्साहन संरचनाओं, निवेश-सक्षम परियोजनाओं और वास्तविक समय की सुविधा को एक संगठित इंटरफेस के अंतर्गत एकत्र करता है। 
  • यह घरेलू और वैश्विक दोनों निवेशकों का समर्थन करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।

महत्त्व

  • यह एक रणनीतिक उपकरण है, जो भारत की पारंपरिक चिकित्सा प्रणाली में वैश्विक निवेश गंतव्य के रूप में स्थिति को मजबूत करता है।
  • भारत का आयुष उद्योग देश के सबसे तेज़ी से विकसित होने वाले क्षेत्रों में से एक रहा है, जिसने 2014 से 2020 के बीच 17% वार्षिक वृद्धि दर्ज की है
    • आयुष क्षेत्र की प्रासंगिकता मेडिकल वैल्यू ट्रैवल (MVT) और वैश्विक वेलनेस अर्थव्यवस्था में इसके योगदान के माध्यम से स्पष्ट होती है।
    • भारत में शीर्ष पाँच स्वास्थ्य सेवाओं में शामिल, आयुष क्षेत्र 13 अरब अमेरिकी डॉलर के MVT उद्योग को आगे बढ़ाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।
  • यह पोर्टल प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) को बढ़ावा देने, उद्यमियों को समर्थन देने और पारंपरिक स्वास्थ्य प्रणालियों में भारत के नेतृत्व को मजबूत करने की संभावना रखता है।

Source :PIB

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् आतंकवाद निरोधी समिति

पाठ्यक्रम :GS 2/IR

समाचार में 

  • संयुक्त राष्ट्र (UN) के महत्त्वपूर्ण आतंकवाद-रोधी निकायों में पाकिस्तान की नियुक्ति ने हालिया आतंकवादी घटनाओं और सैन्य तनाव के मद्देनज़र भारत में चिंता उत्पन्न की है।

आतंकवाद-रोधी समिति (CTC) 

  • यह संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् के प्रस्ताव 1373 (2001) के तहत स्थापित की गई थी, जिसे संयुक्त राज्य अमेरिका में 11 सितंबर के आतंकवादी हमलों के बाद 28 सितंबर 2001 को सर्वसम्मति से अपनाया गया। इसमें सुरक्षा परिषद् के सभी 15 सदस्य शामिल होते हैं और यह विभिन्न उपायों के कार्यान्वयन की निगरानी करता है, जैसे:
    • आतंकवादी वित्तपोषण को अपराध घोषित करना।
    • आतंकवादियों की संपत्तियों को फ्रीज़ करना।
    • आतंकवादियों को सहायता और सुरक्षित ठिकाने प्रदान करने से रोकना।
    • अंतर्राष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देना।
  • प्रस्ताव 1624 (2005) ने इसके दायरे का विस्तार किया, जिसमें आतंकवाद के लिए उकसावे को अपराध घोषित करना और अंतर-सांस्कृतिक संवाद को बढ़ावा देना शामिल है।

Source :PIB

ECINET ऐप

पाठ्यक्रम: GS2/शासन

संदर्भ 

  • मतदाता मतदान डेटा में कथित विसंगतियों के कारण, भारत के चुनाव आयोग ने एक नवीन, सुव्यवस्थित और तकनीक-संचालित प्रणाली प्रारंभ की है ताकि इस डेटा को अधिक कुशलता से प्रदान किया जा सके।

परिचय

  • नया एकीकृत प्लेटफ़ॉर्म, ECINET, चुनाव आयोग (ECI) के 40 से अधिक वर्तमान मोबाइल और वेब अनुप्रयोगों को संगठित और पुनः संरचित करेगा। 
  • यह एक आकर्षक उपयोगकर्ता इंटरफ़ेस (UI) और सरल उपयोगकर्ता अनुभव (UX) प्रदान करेगा, जिससे सभी चुनाव-संबंधी गतिविधियाँ एक ही मंच पर उपलब्ध होंगी। 
  • प्रत्येक मतदान केंद्र के पीठासीन अधिकारी मतदान के दिन प्रत्येक दो घंटे में ECINET ऐप पर मतदान आँकड़े दर्ज करेंगे, जिससे समय-सीमा में विलंब कम होगी। 
  • यह डेटा स्वचालित रूप से निर्वाचन क्षेत्र स्तर पर संगृहीत किया जाएगा।

ऐप की आवश्यकता

  • पहले, मतदाता मतदान डेटा मैन्युअल रूप से सेक्टर अधिकारियों द्वारा एकत्र किया जाता था और फोन कॉल, एस.एम.एस. या मैसेजिंग ऐप्स के माध्यम से रिटर्निंग अधिकारियों (ROs) को भेजा जाता था।
  • भौतिक रिकॉर्ड देर से पहुँचने के कारण, मतदान प्रतिशत की प्रवृत्तियों को घंटों बाद अपडेट किया जाता था, जिससे विलंब होती थी।

ऐप का महत्त्व

  • अब, अनुमानित मतदाता मतदान Voter Turnout ऐप पर तेजी से और अधिक सटीक रूप से अपडेट किया जाएगा।
  • हालाँकि, नियम 49S के अंतर्गत फॉर्म 17C आधिकारिक रिकॉर्ड बना रहेगा, यह तकनीक-संचालित प्रक्रिया पारदर्शिता, समयबद्धता और जनता के विश्वास को बढ़ाने का प्रयास करती है।

Source: TH

चिनाब और अंजी रेल पुल

पाठ्यक्रम: GS3/अवसंरचना

संदर्भ 

  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जम्मू एवं कश्मीर में चिनाब और अंजी रेल पुलों का उद्घाटन किया, जो इस क्षेत्र में बुनियादी ढाँचे और संपर्क के लिए एक ऐतिहासिक क्षण को चिह्नित करता है।

चिनाब रेल पुल के बारे में

  • चिनाब रेल पुल, चिनाब नदी के ऊपर 359 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है और यह विश्व का सबसे ऊँचा रेलवे आर्क पुल है।
  • यह 1,315 मीटर लंबा इस्पात आर्क पुल है, जिसे भूकंपीय और वायु स्थितियों को सहन करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
  • इस पुल का मुख्य प्रभाव जम्मू और श्रीनगर के बीच संपर्क बढ़ाने में होगा।
  • अब कटरा और श्रीनगर के बीच यात्रा मात्र 3 घंटे में पूरी की जा सकेगी।
चिनाब रेल पुल के बारे में

अंजी रेल पुल के बारे में

  • अंजी पुल, भारत का प्रथम केबल-स्टे रेल पुल है, जो रियासी जिले में स्थित है और अंजी नदी (चिनाब की एक सहायक नदी) पर 473 मीटर तक विस्तृत है।
  • यह पुल उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल लिंक परियोजना का हिस्सा है।
  • यह पुल कश्मीर घाटी से संपर्क को बढ़ाएगा, जो व्यापार, यात्रा और रक्षा सुप्रचालन (लॉजिस्टिक्स) को सुधारने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
अंजी रेल पुल के बारे में

Source: PIB

अरावली ग्रीन वॉल परियोजना

पाठ्यक्रम: GS3/ पर्यावरण

समाचार में 

  • प्रधानमंत्री ने अरावली ग्रीन वॉल परियोजना प्रारंभ की है, जिसका उद्देश्य मरुस्थलीकरण के खतरे का सामना करना है।

अरावली ग्रीन वॉल परियोजना के बारे में

  • यह एक प्रधान पहल है, जिसे पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय (MoEFCC) द्वारा भूमि क्षरण को रोकने के लिए प्रारंभ किया गया है।
  • परियोजना का लक्ष्य पूरे 700-किमी लंबे अरावली पर्वत शृंखला (जो विश्व की सबसे पुरानी पर्वत शृंखलाओं में से एक है) के साथ 5-किमी चौड़ा हरित बफर क्षेत्र विकसित करना है।
  • यह पर्वत शृंखला गुजरात, राजस्थान, हरियाणा और दिल्ली में फैली हुई है।
  • यह एक वनरोपण और पुनः वनरोपण पहल है, जो स्थानीय वनस्पतियों, जल संचयन और सामुदायिक भागीदारी पर केंद्रित है।
  • यह परियोजना संयुक्त राष्ट्र मरुस्थलीकरण रोकथाम संधि (UNCCD), जैव विविधता संधि (CBD) और संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन रूपरेखा संधि (UNFCCC) सहित कई अंतर्राष्ट्रीय समझौतों के तहत भारत की प्रतिबद्धताओं में योगदान देती है।

Source: TH

एनवीस्टेट्स इंडिया 2025: पर्यावरण सांख्यिकी

पाठ्यक्रम: GS3/ पर्यावरण

संदर्भ 

  • सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय (MoSPI) ने एनवीस्टेट्स इंडिया 2025 का आठवां संस्करण जारी किया है, जिसमें भारत के पर्यावरण पर विस्तृत सांख्यिकीय मूल्यांकन प्रस्तुत किया गया है।

परिचय

  • एनवीस्टेट्स इंडिया एक वार्षिक प्रकाशन है, जिसे राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) द्वारा 2018 में प्रारंभ किया गया था।
  • यह संयुक्त राष्ट्र के पर्यावरण सांख्यिकी विकास रूपरेखा (FDES) 2013 का अनुसरण करता है, जिससे वैश्विक तुल्यता और मानकीकरण सुनिश्चित होता है।
  • संयुक्त राष्ट्र द्वारा विकसित एक व्यापक और एकीकृत ढाँचा, जो पर्यावरण आँकड़ों को एकत्रित, संकलित और प्रस्तुत करने के लिए संरचित दृष्टिकोण प्रदान करता है।
  • यह नीति निर्माताओं, पर्यावरणविदों और शोधकर्ताओं के लिए एक महत्त्वपूर्ण उपकरण है, जो विभिन्न पर्यावरणीय पहलुओं को कवर करता है।

एनवीस्टेट्स इंडिया 2025 की प्रमुख विशेषताएँ

  • विशेषज्ञ परामर्श:
    • संबंधित मंत्रालयों और क्षेत्रीय विशेषज्ञों की एक समूह गठित किया गया, जिसका उद्देश्य:
      • प्रकाशन के दायरे का विस्तार करना।
      • नए डेटा स्रोतों की पहचान करना।
      • प्रस्तुति और डिज़ाइन को परिष्कृत करना।
  • घटक-वार पुनर्गठन:
    • रिपोर्ट को अब FDES के घटक-आधारित प्रारूप के अनुसार संगठित किया गया है, जिससे स्पष्टता और उपयोगिता में सुधार हुआ है।
  • सूचकांक सामंजस्य (Indicator Concordance):
    • एनवीस्टेट्स संकेतकों को FDES 2013 के साथ संरेखित करने के लिए मैपिंग अभ्यास किया गया।
    • प्रकाशन में FDES के सभी संकेतकों की पूरी सूची शामिल है।
    • नए डेटा में विद्युत, परिवहन और स्वच्छता तक जनसंख्या की पहुँच को शामिल किया गया है।

प्रकाशन की प्रमुख बातें

  • वार्षिक औसत तापमान 2001 में 25.05°C से बढ़कर 2024 में 25.74°C हो गया।
  • इसी तरह, वार्षिक न्यूनतम और अधिकतम तापमान क्रमशः 19.32°C से 20.24°C और 30.78°C से 31.25°C तक बढ़ा।
  • 2001 से 2024 तक वार्षिक वर्षा डेटा मॉनसून पैटर्न से प्रभावित महत्त्वपूर्ण परिवर्तनशीलता को दर्शाता है।
    • हालाँकि, इस डेटा से दीर्घकालिक वृद्धि या गिरावट का कोई स्पष्ट प्रवृत्ति नहीं प्रदर्शित करता।
  • वैश्विक स्तर पर 2,47,605 समुद्री जीव प्रजातियाँ हैं, जबकि भारत में 20,613 प्रजातियाँ उपस्थित हैं।
diversity in india
  • अंतर्देशीय मछली उत्पादन 2013-14 में 61.36 लाख टन से बढ़कर 2023-24 में 139.07 लाख टन हो गया, जिससे अंतर्देशीय जलीय कृषि और अलवणीय जल की मत्स्य पालन का संकेत मिलता है।
मत्स्य पालन
  • पर्यावरण स्थिरता क्षेत्र में 2021-22 में सबसे अधिक खर्च (₹2433.24 करोड़) हुआ।
  • प्राकृतिक संसाधन संरक्षण क्षेत्र में वृद्धि का प्रवृत्ति देखा गया है, जबकि कृषि-वानिकी (Agro-Forestry) क्षेत्र में तीनों क्षेत्रों (कृषि-वनीकरण, प्राकृतिक संसाधन संरक्षण, और पर्यावरण स्थिरता) में सबसे कम व्यय

Source: PIB

फ्यूजेरियम ग्रैमिनीरम

पाठ्यक्रम: GS3/ S&T

समाचार में 

  • दो चीनी नागरिकों पर संयुक्त राज्य अमेरिका में एक कृषि रोगज़नक़ फ्यूज़ेरियम ग्रामिनेरियम (Fusarium graminearum) की तस्करी का आरोप लगाया गया है।

परिचय

  • यह एक एस्कोमाइसीट फंगस है, जो फ्यूज़ेरियम हेड ब्लाइट (FHB) का कारण बनता है—एक गंभीर बीमारी जो गेहूँ, जौ, मक्का, जई और चावल जैसी अनाज फसलों को प्रभावित करती है।
  • यह वोमिटॉक्सिन (Deoxynivalenol) उत्पन्न करता है, जो मनुष्यों और पशुओं के लिए हानिकारक है।
  • यह रोगज़नक़ फसल की उपज और गुणवत्ता को कम करने के साथ-साथ हानिकारक माइकोटॉक्सिन से अनाज को दूषित करता है, जिससे पशुओं और मनुष्यों के स्वास्थ्य पर गंभीर खतरा उत्पन्न होता है।

क्या है एग्रो-टेररिज्म?

  • एग्रो-टेररिज्म जैविक एजेंटों जैसे पौध रोगज़नक़ों, कीटों या दूषित पदार्थों का जानबूझकर उपयोग करके किसी देश के कृषि बुनियादी ढाँचे पर हमला करना है।
  • इसका उद्देश्य खाद्य उत्पादन प्रणालियों को निशाना बनाकर आर्थिक विनाश, खाद्य असुरक्षा और सार्वजनिक भय फैलाना है।
  • यह कम लागत, पहचानने में कठिनाई और व्यापक आर्थिक-सामाजिक क्षति की क्षमता के कारण शत्रुतापूर्ण तत्वों के लिए आकर्षक बन जाता है।

वैश्विक उदाहरण

  • यूके में खुर और मुँह रोग (2001): अनुमानित लागत £8 अरब; संदिग्ध जैव-आक्रमण।
  • चावल ब्लास्ट फंगस (एशिया): इसे मुख्य फसलों को नष्ट करने के लिए हथियार के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है।
  • गायों में एंथ्रेक्स (सोवियत काल): सोवियत संघ ने इसे शीत युद्ध के जैव-युद्ध प्रयोगशालाओं में परीक्षण किया था।

वैश्विक संधियाँ

  • जैविक हथियार संधि (BWC) (1972): यह जैविक और विष हथियारों के विकास, उत्पादन, अधिग्रहण, हस्तांतरण, भंडारण और उपयोग पर प्रतिबंध लगाती है।
  • संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् प्रस्ताव 1540: यह सभी UN सदस्य देशों को गैर-राज्य तत्वों को परमाणु, रासायनिक और जैविक हथियार प्राप्त करने से रोकने के लिए बाध्य करता है।
  • इंटरपोल की जैव-आतंकवाद रोकथाम योजना: इंटरपोल सदस्य देशों के साथ मिलकर जैव-आतंकवाद को रोकने और प्रतिक्रिया क्षमताओं को बढ़ाने में सहयोग करता है।

Source: TH

 

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