पाठ्यक्रम: GS2/शासन/GS 3/विज्ञान और प्रौद्योगिकी
समाचार में
- संयुक्त राष्ट्र AI सलाहकार निकाय ने AI से संबंधित जोखिमों और शासन संबंधी कमियों को दूर करने के लिए सात सिफारिशों के साथ एक अंतिम रिपोर्ट जारी की।
मुख्य सिफारिशें
- वैज्ञानिक पैनल: AI के बारे में विश्वसनीय वैज्ञानिक ज्ञान प्रदान करने के लिए एक निष्पक्ष पैनल बनाएं, AI प्रयोगशालाओं और वैश्विक समुदाय के बीच सूचना अंतराल को समाप्त करें।
- नीति संवाद: अंतर्राष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देने के लिए AI शासन पर नीति संवाद शुरू करें।
- AI मानक विनिमय: AI मानकों और सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करने के लिए एक मंच स्थापित करें।
- वैश्विक AI क्षमता विकास नेटवर्क: एक वैश्विक नेटवर्क का निर्माण करके शासन क्षमताओं को दृढ करें।
- वैश्विक AI कोष: एक समर्पित कोष के माध्यम से क्षमता अंतराल को संबोधित करें।
- AI डेटा फ्रेमवर्क: AI डेटा के लिए एक पारदर्शी और जवाबदेह वैश्विक ढांचा विकसित करें।
- AI कार्यालय: कार्यान्वयन प्रयासों के समन्वय के लिए एक छोटा AI कार्यालय स्थापित करें।
उभरती चुनौतियाँ
- OpenAI के ChatGPT (2022) के बाद से AI के तेजी से प्रसार ने गलत सूचना, फर्जी खबरों और कॉपीराइट उल्लंघन के बारे में चिंताएं बढ़ा दी हैं।
- संयुक्त राष्ट्र ने AI विकास पर कुछ बहुराष्ट्रीय कंपनियों के वर्चस्व के बारे में चिंता व्यक्त की, जिससे संभावित रूप से लोगों को इसके उपयोग में कोई आवाज़ नहीं मिल पा रही है।
- केवल कुछ ही देशों के पास विशिष्ट AI कानून हैं।
- कुछ देशों ने AI कानून बनाए हैं, जिसमें यूरोपीय संघ अपने AI अधिनियम के साथ अग्रणी है।
- अमेरिका स्वैच्छिक अनुपालन का पक्षधर है, और चीन सामाजिक स्थिरता बनाए रखने पर ध्यान केंद्रित करता है।
- अमेरिका और लगभग 60 देशों ने सेना में AI के उपयोग को विनियमित करने के लिए “कार्रवाई के लिए ब्लूप्रिंट” का समर्थन किया, लेकिन चीन ने दस्तावेज़ का समर्थन नहीं किया
- चीन सामाजिक स्थिरता और राज्य नियंत्रण को संतुलित करता है।
भारत का दृष्टिकोण
- भारत AI विनियमन और विकास में एक प्रमुख खिलाड़ी के रूप में उभर रहा है, जिसका बड़ा उपभोक्ता आधार और श्रम शक्ति प्रौद्योगिकी कंपनियों के लिए महत्वपूर्ण है।
- 2030 तक, भारत 10,000 से अधिक डीप टेक स्टार्ट-अप की मेजबानी करेगा।
- AI मिशन वित्त-पोषण: सरकार ने AI नवाचार को बढ़ावा देने और सार्वजनिक-निजी भागीदारी पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने के लिए भारत AI मिशन को ₹10,300 करोड़ आवंटित किए हैं।
- तकनीकी निवेश: इस कोष का उपयोग 10,000 ग्राफिक प्रोसेसिंग यूनिट (GPU), बड़े मल्टी-मॉडल (LMM) को तैनात करने और AI-आधारित अनुसंधान सहयोग और अभिनव परियोजनाओं को बढ़ावा देने के लिए किया जाएगा।
- आर्थिक विकास और SDG को संतुलित करना: भारत की AI रणनीति को सतत विकास लक्ष्यों (SDG) के साथ संरेखित करना चाहिए, जो संबंधित जोखिमों का प्रबंधन करते हुए नवाचार का समर्थन करने वाले जिम्मेदार AI उपयोग को सुनिश्चित करता है।
- AI शासन के लिए चरणबद्ध दृष्टिकोण: भारत AI शासन के लिए एक क्रमिक, चरणबद्ध दृष्टिकोण अपनाने की संभावना है, जो नैतिक और सामाजिक जिम्मेदारियों से समझौता किए बिना आर्थिक विकास का समर्थन करने वाली निष्पक्ष तथा समावेशी AI प्रणाली को बढ़ावा देता है।
निष्कर्ष और आगे की राह
- AI प्रौद्योगिकियों की तीव्र प्रगति के महत्वपूर्ण आर्थिक, सामाजिक और नैतिक निहितार्थ हैं।
- AI के लाभों को अधिकतम करने और इसके जोखिमों को कम करने के लिए प्रभावी शासन आवश्यक है।
- AI सिस्टम स्पष्ट, निष्पक्ष और जवाबदेह होना चाहिए।
Source : TH
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संक्षिप्त समाचार 21-09-2024