पाठ्यक्रम: GS3/अवसंरचना
संदर्भ
- डिजिटल इंडिया कार्यक्रम को सरकार द्वारा 1 जुलाई 2015 को लॉन्च किया गया था, जिसका उद्देश्य भारत को एक ज्ञान-आधारित अर्थव्यवस्था और डिजिटल रूप से सशक्त समाज में बदलना है।
डिजिटल अर्थव्यवस्था
- डिजिटल अर्थव्यवस्था में तीव्रता से वृद्धि हो रही है — 2022–23 में राष्ट्रीय आय में इसका योगदान 11.74% था, जो 2024–25 तक 13.42% तक पहुँचने की संभावना है।
- ICRIER द्वारा जारी “स्टेट ऑफ इंडिया’ज़ डिजिटल इकोनॉमी रिपोर्ट 2024” के अनुसार, भारत अब डिजिटल अर्थव्यवस्था के मामले में विश्व में तीसरे स्थान पर है।
- 2030 तक भारत की डिजिटल अर्थव्यवस्था के समग्र अर्थव्यवस्था में लगभग पांचवां हिस्सा बनने की संभावना है, जो पारंपरिक क्षेत्रों की वृद्धि को पीछे छोड़ देगी।

डिजिटल इंडिया के अंतर्गतप्रमुख फोकस क्षेत्र और सेवाएं
- कनेक्टिविटी और अवसंरचना: वर्षों में डिजिटल इंडिया ने देशभर में सुदृढ़ डिजिटल ढांचा स्थापित किया है। मोबाइल कनेक्टिविटी लगभग प्रत्येक गाँव तक पहुँच चुकी है।
- टेलीकॉम और इंटरनेट पहुँच: भारत में टेलीफोन कनेक्शन 2014 के 93.3 करोड़ से बढ़कर 2025 में 120 करोड़ से अधिक हो गए हैं, और टेली-डेंसिटी 2024 तक 75.23% से बढ़कर 84.49% हो गई है।

- UPI: ACI वर्ल्डवाइड रिपोर्ट 2024 के अनुसार, भारत ने 2023 में विश्व के 49% रीयल-टाइम लेनदेन को संभाला।
- UPI अब सात से अधिक देशों में उपस्थित है, जिससे वैश्विक डिजिटल भुगतान और वित्तीय समावेशन को बढ़ावा मिला है।
- आधार: आधार-आधारित ई-केवाईसी प्रणाली ने बैंकिंग और सार्वजनिक सेवाओं दोनों में प्रक्रियाओं को सरल बनाया है।
- इससे सत्यापन तेज़ हुआ, कागज़ी कार्यवाही घटी और विभिन्न क्षेत्रों में पारदर्शिता बढ़ी।
- डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (DBT): DBT आधार के ज़रिए कल्याणकारी भुगतान सीधे लाभार्थियों तक पहुँचाता है और फर्जी लाभार्थियों को हटाता है।
- ओपन नेटवर्क फॉर डिजिटल कॉमर्स (ONDC): 2022 में लॉन्च किया गया, ONDC छोटे व्यवसायों को डिजिटल बाज़ार में प्रवेश करने में सहायता करता है।
- 2025 तक यह 616+ शहरों में फैल चुका है और 7.64 लाख से अधिक विक्रेताओं एवं सेवा प्रदाताओं को पंजीकृत कर चुका है।
- इंडियाAI मिशन: इसका फोकस कंप्यूटिंग तक पहुंच बढ़ाने, नवाचार को समर्थन देने, डेटा सेट सुधारने, स्टार्टअप को फंड देने और नैतिक AI उपयोग सुनिश्चित करने पर है।
- मई 2025 तक भारत की राष्ट्रीय कंप्यूटिंग क्षमता 34,000 GPU से पार हो गई — जो AI अवसंरचना के विकास में एक बड़ा माइलस्टोन है।
- इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन: ₹76,000 करोड़ के बजट के साथ यह मिशन देश में चिप और डिस्प्ले निर्माण को समर्थन देता है।
- यह फेब्स के लिए 50% तक समर्थन और चिप डिज़ाइन व निर्माण के लिए प्रोत्साहन प्रदान करता है।
- ई-गवर्नेंस: भारत में ई-गवर्नेंस ने नागरिकों और सरकार के बीच संवाद की दिशा बदल दी है — सेवाओं को अधिक सुलभ, पारदर्शी एवं कुशल बनाया गया है।
- इसमें मिशन कर्मयोगी, डिजीलॉकर और उमंग ऐप जैसी पहलें शामिल हैं।
Source: TH
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